फरीदाबाद, 02 अप्रैल। जिलाधीश विक्रम सिंह ने कहा कि जिला में “अक्षय तृतीया” पर बाल विवाह रोकने के लिए आम जन को जागरूक करें। उन्होंने कहा कि प्रदेश में शादी विवाहों के लिए “अक्षय तृतीया”/”आखा तीज” के नाम से लोकप्रिय यह 10 मई, 2024 को पड़ता है। इस दिन को अक्सर बड़ी संख्या में बाल विवाह को रोकने के लिए चुना जाता है, जो न केवल एक प्रतिगामी सामाजिक प्रथा है, बल्कि बाल विवाह निषेध अधिनियम (पीसीएमए) के तहत भी अवैध है।
इस दिन बाल विवाह की परंपरा को तोड़ने के लिए सतर्कता बढ़ाएं और सभी संबंधितों को सभी संभावित निवारक उपाय करने का निर्देश दें।
बाल विवाह की रोकथाम के लिए सक्रिय कदम उठाए
जिलाधीश विक्रम सिंह ने कहा कि बाल विवाह की रोकथाम के लिए सक्रिय कदम उठाएं।
ग्राम, पंचायत, ब्लॉक/शहरी/वार्ड/जिला, तहसील स्तर आदि पर जागरूकता कार्यक्रम चला कर अधिक से अधिक लोगों को भागीदार बना कर समाज हित के आम जन को जागरूक करें।
बाल विवाह की रोकथाम के लिए“अक्षय तृतीया” पर बाल विवाह रोकने के लिए करें आम जन को जागरूक:- विक्रम सिंह
यह सक्रिय कदम उठाए:-
जिलाधीश विक्रम सिंह ने कहा कि लोगों को जागरूक करने के लिए
डीपीओएस/पीपीओएस/पुलिस विभाग/श्रम विभाग और धार्मिक पुजारियों, जो विवाह संपन्न कराने के लिए जिम्मेदार हैं और विवाह के दौरान सेवा प्रदाताओं के साथ बाल विवाह पर जागरूकता कार्यक्रमों के संबंध में बैठक आयोजित करें। इसके अलावा स्कूलवार उन बच्चों की सूची तैयार करें। जो स्कूल छोड़ चुके हैं और नियमित रूप से स्कूल नहीं जाते हैं। जिला के सभी विद्यालयों के प्रधानाचार्य अथवा प्रधानाध्यापको के जरिये विद्यालय से अनुपस्थित बच्चों की विद्यालयवार सूची तैयार करें। वहीं
सार्वजनिक स्थानों पर प्रभात फेरी, नुक्कड़ नाटक, चस्पा आदि करना सुनिश्चित करें । आम जनता में जागरूकता के लिए बाल विवाह निषेध बारे में अधिक से अधिक प्रचार-प्रसार करें।